Last Updated on January 27, 2024 by krishisahara
राजस्थान में बागवानी संबंधी योजनाएँ किसानों की आय बढ़ाने में सफल एव कामगार साबित हो रही है | राजस्थान नए फल बगीचों की स्थापना योजना के माध्यम से, राजस्थान सरकार ने लक्ष्य बनाया है, कि जलवायु परिवर्तन के समय में भी किसानों को अधिक से अधिक मुनाफे कमाने की संभावना हो |
यह योजना राजस्थान में फलों के उत्पादन को बढ़ाना, बाजार और एकीकरण को बढ़ावा देने के लिए महत्वपूर्ण भूमिका निभा रही है | आइये जानते है, सब्सिडी प्रोग्राम के तहत होगी बाग़ की स्थापना को लेकर सम्पूर्ण जानकारी के बारें में –
राजस्थान नए फल बगीचों की स्थापना योजना क्या है ?
पिछले कई सालों से राजस्थान सरकार के बागवानी विभाग की और से “नए फल बगीचों की स्थापना” योजना शुरू है, जिसके अंतर्गत राजस्थान में हर साल 50,000 फलदार पौधे लगाए जाते है | इस योजना के तहत सभी जिलों में फल बगीचे बनाए जाएंगे| इसके लिए किसान भाई को ई-मित्र द्वारा ऑनलाइन या नजदीकी कृषि कार्यालय से आवेदन करने की सुविधा मिलती है |
चयनित किसान को फल बगीचों की स्थापना हेतु एन.एच.बी. एक्रिडेटेड नर्सरी/राजहंस नर्सरी/कृषि विश्वविद्यालयों/कृषि महाविद्यालयों/भारत सरकार की संस्थाऐ/अनुसंधान केन्द्र/फार्म या अन्य किसी राजकीय संस्था से पौधे खरीद कर बगीचा लगाने पर 50% सब्सिडी अनुदान देय होगा|
प्रदेश में फल बगीचों से योजना का उद्देश्य एवं लाभ ?
राजस्थान में नए फल बगीचों की स्थापना योजना का उद्देश्य राज्य में फलों के उत्पादन और मंडियों में फलों की आवक को बढ़ावा देना है| इस योजना से राजस्थान में बागवानी बागों एव ताज़ा फलों का विकास होगा, जिससे किसानों को अधिक मुनाफा/ आमदनी कमाने का अवसर मिलेगा|
- यह योजना सीधे फल उत्पादकों तक पहुंच को सुगम बनाने के साथ-साथ खाद्य पदार्थों की आपूर्ति में सुधार करेगी|
- भारी सब्सिडी के सहारे, किसान अधिक जल आधारित एवं परम्परागत खेती को छोड़कर अधिक मुनाफेदार एवं डिमांड वाली खेती कर सकेगा |
- फलों के उत्पादन में वृद्धि के साथ, इस योजना से किसानों के पास फलों को संचय करने और उनके बाजार में बेचने के लिए भी सुविधाएं उपलब्ध कराएगी |
- इस योजना से राजस्थान में नए फल बगीचों के साथ साथ क्षेत्र में नई नौकरियों का भी निर्माण होगा|
- इससे राजस्थान की आर्थिक विकास में भी वृद्धि होगी और देश की आर्थिक विकास में यह एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगी|
नए बाग की स्थापना पर अनुदान कितना मिलेगा ?
राजस्थान सरकार द्वारा राज्य में नए फल बागों की स्थापना के लिए 50% तक का सब्सिडी अनुदान प्रदान करती है | अधिक मूल्य वाली एवं सामान्य अन्तराल वाली बागवानी फसलों की स्थापना पर लागत का 50% अधिकतम राशि रूपये 30,000/- प्रति हेक्टेयर | लघु/सीमान्त कृषको को 25 प्रतिशत अतिरिक्त अनुदान देय है|
सघन बागवानी की फलदार पौधो की ईकाई लागत का 40% अधिकतम राशि रूपये 40,000/-प्रति हैक्टेयर| अनुसूचित जनजाति क्षेत्र हेतु 50%, लघु / सीमान्त कृषको को 25 प्रतिशत अतिरिक्त अनुदान देय का प्रावधान है|
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नए फल बगीचों की स्थापना के लिए आवेदन कैसें करें ?
राजस्थान में नए फल बगीचों की स्थापना के लिए आवेदन करने के लिए निम्नलिखित कदमों का पालन करें : –
- सबसे पहले, अपने स्थानीय कृषि कार्यालय अधिकारी के पास जाएं और नए फल बगीचे की स्थापना के लिए अनुमति प्राप्त करें|
- या ऑनलाइन आवेदन करें, अनुमति और योजना में चयनित होने पर, योजना का लाभ ले सकते है |
- ऑफलाइन आवेदन के समय, अपनी योजना के बारे में बताएं जैसे कि आप कौन से फलों के बाग की स्थापना करना चाहते हैं, आपके पास कितना जमीन है, आपके पास कितना पूंजी है और आपके पास कितने लोग हैं, जो इस उद्योग में शामिल होना चाहते हैं|
- फिर अपने स्थानीय कृषि कार्यालय से फार्म भरें और आवश्यक दस्तावेज जमा करें।
- आवेदन की प्रक्रिया पूरी होने के बाद, आपको अपने अनुमति पत्र के साथ फल बाग की स्थापना करने की अनुमति मिल जाएगी।
आप इस प्रक्रिया को पूरा करने में आपके नजदीकी कृषि कार्यालय अधिकारी से सम्पर्क/सहायता ले सकते हैं |
बागवानी खेती की पात्रता क्या रहेगी ?
सब्सिडी पर बागवानी खेती के लिए निम्नलिखित पात्रता होनी चाहिए –
- पर्याप्त जमीन :- आपके पास बागवानी खेती के लिए पर्याप्त कृषि भूमि होनी चाहिए| एक कृषक को न्यूनतम 0.4 हैक्टेयर एवं अधिकतम 4.0 हैक्टेयर क्षेत्र के लिये अनुदान दिया जायेगा | अनुसूचित जाति/जनजाति के कृषकों व जनजातीय क्षेत्रों के लिये न्यूनतम क्षेत्रफल सीमा 0.2 हैक्टेयर रहेगी|
- सिंचाई स्त्रोत – आवेदक के पास कृषि भूमि पर डिग्गी, तालाब, नहर, कुआ, नलकूप, बोरवेल से सिंचाई स्त्रोत होना आवश्यक है|
- जलवायु :- बागवानी खेती के लिए लगने वाले फलदार पेड़ो के लिए उचित जलवायु आवश्यक है| इसके अलावा वृक्षों को अन्य मौसमी परिवर्तनों से भी बचाया जाना चाहिए|
- ज्ञान और कौशल :- बागवानी खेती के लिए आवश्यक ज्ञान और कौशल होने चाहिए| आपको प्रत्येक फसल की खेती में माहिर होना चाहिए ताकि आप उचित रूप से अपनी फसल को देखभाल कर सकें| इसके लिए आप जिला स्तर के KVK (कृषि विज्ञानं केंद्र) से प्रशिक्षण ले सकते है |
योजना में फलों की खेती के प्रमुख किस्म के पौधे ?
राजस्थान नए फल बगीचों की स्थापना योजना में कुछ प्रमुख फलों की खेती के लिए पौधे हैं, जिनमें निम्नलिखित शामिल है :-
- आम
- अंजीर
- बेर
- अनार
- नाशपाती
- अमरुद
- आँवला
- सीताफल
- लीची
- खजूर
- नींबू
यह योजना राजस्थान के क्षेत्रफल, जलवायु और भौगोलिक विशेषताओं के अनुसार तैयार की गई है | एग्रीकल्चर डिपार्टमेंट राजस्थान सब्सिडी प्रोग्राम के मानकों के आधार पर भौतिक सत्यापन के बाद अनुदान राशि का भुगतान सीधे कृषक के बैंक खाते में होगा|
राजस्थान में बागवानी संबंधी योजनाएँ कौन-कौनसी है?
राजस्थान में बागवानी संबंधी कुछ प्रमुख योजनाएं हैं, जिनमें से कुछ निम्नलिखित हैं : –
राजस्थान नए फल बागीचों की स्थापना योजना
प्रदेश में फलों के बाग एवं उनकी विकास योजना
राजस्थान आम के विकास हेतु प्रदेश में आम के विभिन्न किस्मों के उत्पादन हेतु सहयोग एवं प्रोत्साहन योजना
बागवानी विकास योजना
राजस्थान ऑर्गेनिक फार्मिंग अभियान
इन योजनाओं के माध्यम से, स्थानीय किसानों को फल बागीचों की स्थापना, उत्पादन और विकास के लिए वित्तीय सहायता, प्रशिक्षण और तकनीकी सहायता दी जाती है|
सब्सिडी पर नए फल बगीचों की स्थापना हेतु आवश्यक दस्तावेज?
नए फल बागीचों की स्थापना हेतु सब्सिडी के लिए आवश्यक दस्तावेजों की सूची निम्नलिखित है : –
– किसान का आधार कार्ड, मोबाईल नंबर से लिंक होना आवश्यक
– जनाधार कार्ड
– बैंक खाता विवरण
– भूमि स्वामित्व संबंधी दस्तावेज (भू-अभिलेख, खसरा खतौनी, जमाबंदी, खाता संख्या)
– फलों के बाग की नकल अथवा प्रमाणित रसीद
– पौधे खरीदने हेतु कोटेशन पत्र या भाव सूचि
– पौधों के विवरण
यह दस्तावेज आपको अपने स्थानीय कृषि विभाग में जमा करने होंगे, या ई-मित्र पर ऑनलाइन आवेदन कर सकते है |
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