Last Updated on December 8, 2022 by krishi sahara
खीरे की खेती का समय | खीरे की खेती से कमाई | खीरे की आधुनिक खेती | देसी खीरा की खेती | हाइब्रिड खीरा की खेती | kheera ki kheti | khire ki kheti ki jankari | khira kakdi ki kheti
आज के समय खीरा ककड़ी की भारतीय बाजारों में पूरे सालभर मांग बनी रहती है, मुख्यतः खीरे की खेती गर्मी के मौसम में बरसात के मौसम में तथा सर्दी के मौसम में तीनों प्रकार की ऋतु में खीरे ककड़ी की खेती कर सकते हैं| यदि किसान कम पैसे लगाकर खेती मे लाखों रुपये कमाना चाहता है तो वो khira kakdi ki kheti कर सकते है | आज के समय हर किसान अपनी मेहनत के बल पर नई-नई मिसाल बना रहे है |
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किसान भाइयों खीरा भारत की प्रमुख हरी सब्जियों और गुणकारी सलाद मे से एक है| भारत मे खीरा की खेती मुनाफे के तौर से भारी मात्रा मे खेती की जाती है |
भारतीय सब्जी बाजारों मे प्रतिवर्ष अच्छा खासा उत्पादन खीरा का देखने को मिल जाता है | खीरा स्वास्थ्य के लिए भी बेहद लाभदायक है इसलिए भी लोग इसे खाना पसंद करते है |
खीरे की आधुनिक खेती/हाइब्रिड खीरा की खेती कैसे करें ?
देश का प्रगतिशील किसान khira kakdi की अगेती और पछेती के साथ बाजार की मांग के अनुसार खेती करके अच्छा खासा मुनाफा कमा रहे है, तो आइए आज हम जानते है खीरे की खेती का समय, खीरे की खेती से कमाई, खीरे की आधुनिक खेती और खीरे की खेती की सम्पूर्ण जानकारी –
खीरे की खेती का समय ?
इस फसल की खेती मुख्य रूप से गर्मियों और बरसात के मौसम मे ज्यादा की जाती है| गर्मियों और बरसात के अलावा ग्रीनहाउस/नेटहाउस की मदद से अगेती और पछेती खेती कर पूरे साल इसकी खेती कर सकते है| khira kakdi ki kheti के लिए उत्तम समय-
गर्मी में खीरे की खेती | बरसात में खीरे की खेती |
इस मौसम में बुवाई के लिए दिसंबर-जनवरी-फरवरी का महीना उत्तम माना जाता है | | barsati kheera ki kheti मे जून का अंतिम सप्ताह से जुलाई -अगस्त-सितंबर का महीना बुवाई के लिए उत्तम माना जाता है | |
- देश के मैदानी क्षेत्रों में khira kakdi की बुआई – फरवरी-जून |
- दक्षिण भारत में khira kakdi की बुआई – जून से अक्टूबर तक बुआई चालू रहती है |
- उत्तरी भारत के पर्वतीय क्षेत्रों में खीरा बुवाई – अप्रैल से मई में बुवाई कर सकते हैं |
खीरे के पौधों की नर्सरी कैसे तैयार करें ?
बहुत सारे किसान भाइयों के वातावरण और मौसम के विपरीत परिस्थितियों में खेती करने के लिए खीरे की पौध तैयार कर या नर्सरी से पौधे खरीद सकते हैं| खीरे के पौधों या नर्सरी की जरूरत किसान को उस समय पड़ती है जब किसान खीरे की अगेती खेती और पछेती खेती करना चाहता है या खेत में उच्च तापमान होने के कारण सीधी बुवाई नहीं कर सकता| नर्सरी से तैयार पौधों को खेत में किसी भी मौषम मे लगा सकता है तथा पॉलीहाउस नेट हाउस तथा मौसम के अनुकूल उत्पादन ले सकता है |
- खीरा की नर्सरी तैयार करते समय सर्वप्रथम किसान को अच्छे और उच्च गुणवत्ता के बीजों का चयन करना है |
- पौध के लिए किसान ट्री-प्लेट या छोटे पॉलीबैग में पौधों को लगा सकते हैं |
- पोली बैग में मिट्टी के लिए अच्छी मिट्टी का चुनाव करें तथा उसमें आवश्यक और उर्वरक डालकर छोटे बैग में भर दे |
- खीरे के प्रत्येक बैग में बीजों को एक से 2 सेमी गहराई में लगा दे |
- हल्की धूप और छाया वाले स्थान पर रखकर पौधों में पानी पिला दे |
- समय-समय पर पौधों की देखरेख करते रहे |
- नर्सरी में जब पौधा 12 से 16 दिन का हो जाए तब इसे तैयार खेत में स्थापित कर देना चाहिए |
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खीरे की उन्नत किस्में ?
संकर खीरा के बीजों मे आज के समय एक से बढ़कर एक वैराइटियों का आगमन हुआ है| वर्तमान समय मे हाइब्रिड खीरा का बीज ही किसान को कम समय मे लाखों की कमाई कर सकता है| खीरे की किसान भाई कोई भी किस्म ले एक तो साधारण/देशी खीर और हाइब्रिड खीरा आ रहा है| खीरे की हाइब्रिड बीजों मे पैदावार डेड से दोगुणा ज्यादा होने की संभावना रहती है
भारतीय देशी और हाइब्रिड खीरे की किस्में | विदेशी खीरे की उन्नत किस्में |
हाइब्रिड लाइट ग्रीन हाइब्रिड वाईट ग्रीन स्वर्ण अगेती स्वर्ण पूर्णिमा पूसा उदय पूना खीरा पंजाब सलेक्शन पूसा संयोग विनायक हाइब्रिड पूसा बरखा खीरा 90 कल्यानपुर हरा खीरा कल्यानपुर मध्यम खीरा 75 | जापानी लौंग ग्रीन चयन स्ट्रेट- 8 पोइनसेट आदि प्रमुख है | |
विदेशी या chinese kheera ki kheti भारत मे कम प्रचलित है वैसे देश के बड़े-बड़े शहरों मे विदेशी किस्म के खीरा ककड़ी मांग रहती है |
खीरे की उन्नत खेती के लिए जलवायु –
खीरे की फसल के लिए शीतोषण और समशीतोषण दोनों ही जलवायु अच्छी मानी गई है| खीरे में फूल आने का समय 13 से 18 डिग्री सेल्सियस तापमान अच्छा होता है| फूलों के बनते समय खीरे की फसल 20 से लेकर 40 डिग्री सेल्सियस तक का तापमान में काम कर सकती हैं |
बात करें मिट्टी की तो जीवाश्म युक्त मिट्टी तो चिकनी मिट्टी, बलुई-दोमट मिट्टी, काली मिट्टी, पीली मिट्टी म कर सकते है |
किसान भाई ध्यान रखें यदि बरसात के मौसम में खीरे की खेती करते हैं तो उस भूमि का चुनाव ना करें जहां पानी का भराव होता हो |
बीज बुवाई कैसे करें और प्रति एकड़ बीज की लागत –
बीज बुवाई के समय किसान भाई बीज को सीधा खेत में भी लगा सकते हैं या फिर खीरे की नर्सरी से तैयार पौधे को भी सीधा खेत में लगा सकते हैं| यदि बीज की बुवाई करते हैं तो 3 से 4 फीट के अंतराल में तीन से चार बीज एक जगह पर लगाएं |
खीरे की पौध तैयारी के समय तथा बीज की बुवाई के समय किसान भाई विशेष ध्यान रखें कि बीजों को उपचारित करके ही बीज की बुवाई करें |
खीरे की आधुनिक खेती मे बीज की मात्रा 1 एकड़ में 1 किलो ग्राम तक लगती है | हाइब्रिड खीरा के बीज की लागत प्रति एकड़ 500 से 600 ग्राम प्रति एकड़ आवश्यकता पड़ती है |
ध्यान रखें कि गर्मी में खीरा की खेती करना चाहते हैं तथा तापमान ज्यादा रहता है तो इसके लिए नेट हाउस या पॉलीहाउस में खीरे की खेती करना उचित होगा| पोली हाउस में खीरे की खेती करने से फसल में अंकुरण और फल फूल, रोगों में कमी तथा उत्पादन में भारी मुनाफा होगा |
खीरे की आधुनिक खेती विधि ?
kheera ki kheti करने के तरीकों की बात करें तो देश के क्षेत्र में अलग-अलग, और सुविधाओं के अनुसार अलग-अलग विधियों का प्रयोग करते हैं| देश आधुनिक खेती विधियां हैं और माचान विधि, बांस मंडप विधि, मल्चिंग विधि, समतल खेत विधि आदि विधियों के माध्यम से खीरे की खेती कर सकते हैं |
बिजाई का ढंग :- बीज को ढाई मीटर की चौड़ी बेड पर दो-दो फुट के अंतराल पर बोया जा सकता है| खीरे की बिजाई मेढ़ो/बेड के ऊपर करना ज्यादा अच्छा हैं| इस तरीके मे मेढ़ से मेढ़ की दूरी 1 से 1.5 मीटर रखी जाती है |
खीरे की खेती मे सिंचाई ?
- khire ki kheti बुआई के समय खेत में नमी पर्याप्त मात्रा में रहनी चाहिए अन्यथा बीजों का अंकुरण वृद्धि अच्छी प्रकार से नहीं होती है |
- बरसात वाली फसल के लिए सिंचाई की विशेष आवश्यकता नहीं पड़ती है |
- औसतन गर्मी की फसल को हर 4 से 5 दिन तथा शीत मौषम की फसल को 10-15 दिनों पर पानी देना चाहिए |
- तने की वृद्धि, फूल आने के समय तथा फल की बढ़वार के समय पानी की कमी नहीं होनी चाहिए |
khire ki kheti से पैदावार ?
उपज निर्भर करती है किसान द्वारा अपनाए गए तौर तरीके और फसल को मिले सभी पौषक तत्वों पर खीरे को कोमल एवं मुलायम अवस्था में तोड़ना चाहिए| फलों की तुड़ाई 2-3 दिनो के अन्तराल पर करते रहना चाहिए |
देशी खीरे की औसत उपज 60 से 75 क्विंटल प्रति हेक्टेयर तथा हाइब्रिड खीरे की औसत उपज 130-220 क्विंटल प्रति हेक्टेयर तक हो जाती है |
खीरे की खेती से कमाई –
खीरे से कमाई की बात पर निर्भर करता है कि किसान किस मौसम तथा किस समय एक ही बाजार में मांग है| अच्छी कमाई गर्मी का मौसम, खीरे की मांग ज्यादा होती है, और जब मार्केट में खीरे की कम सप्लाई होती है |
प्रति एकड़ करीब 2-3 लाख रुपए की कमाई एक सीजन में होती है| ढाई से 3 महीने में खेत खाली हो जाता है | व्यवसायिक तौर पर खेती करने वाले किसान अधिकतर अगेती और पछेती खेती करके ही लाखों रुपए का मुनाफा कमा रहे हैं |
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प्रमुख रोग व कीट व उन पर नियंत्रण –
रोंग एव कीट | लक्षण एव रोंग निवारण |
लाल कीडा | यह पत्तियों तथा फूलों को खाता है | रोकथाम हेतु इण्डोसल्फान 4% चूर्ण 20-25 किग्रा./ हेक्टेयर छिड़काव करें | |
फल कीडा | यह कीडा यह कीडा फूल को खाने मे लगा रहता है | इनके उपचार के लिए इण्डोसल्फान 4% powder 20-25 kg/ हेक्टेयर के हिसाब छिड़के | |
एन्थ्रेकनोज | इस रोग में पत्तियों एवं खीरे-ककड़ी पर लाल, धब्बे हो जाते है | बीज को बुवाई से पहले मेनकोजेब दवा से उपचारित कर लेना चाहिए | |
फ्यूजेरियम रूट हाट | इस रोंग मे तने का आधार काला हो जाता है और बाद में पौधा सूख जाता है | बीज पर गर्म पानी का उपचार करके मरक्यूरिक क्लोराइड के 0.1 % घोल में डुबा लेना चाहिए | |
खीरे की मोटाई और पैदावार कैसे बढ़ाए ?
खीरे की बेल पर फूल का आना या फल का बनने लग जाए उस समय खीरा की फसल में मोटाई और पैदावार बढ़ाने के लिए दवा का प्रयोग कर सकते है| साइज बढ़ाने या फुलाव चमक के लिए NPK– 13045 यूरिया और पोटास [वाइट पोटोस], NPK-11040 जैसी अच्छी खाद है |
अर्थातः जिन खातों में नाइट्रोजन और पोटाश की मात्रा हो उन उर्वरक का प्रयोग कर सकते हैं |
खीरे के बीज कैसे बोए जाते हैं ?
बीज बुवाई के समय किसान भाई बीज को सीधा खेत में भी लगा सकते हैं या फिर खीरे की नर्सरी से तैयार पौधे को भी सीधा खेत में लगा सकते हैं | यदि बीज की बुवाई करते हैं तो 3 से 4 फीट के अंतराल में तीन से चार बीज एक जगह पर लगाएं |
खीरे की खेती से कमाई ?
प्रति एकड़ करीब 2-3 लाख रुपए की कमाई एक सीजन में होती है | ढाई से 3 महीने में खेत खाली हो जाता है | व्यवसायिक तौर पर खेती करने वाले किसान अधिकतर अगेती और पछेती खेती करके ही लाखों रुपए का मुनाफा कमा रहे हैं |
खीरा कब लगाएं ?
देश के मैदानी क्षेत्रों में khira kakdi की बुआई – फरवरी-जून |
दक्षिण भारत में khira kakdi की बुआई – जून से अक्टूबर तक बुआई चालू रहती है |
उत्तरी भारत के पर्वतीय क्षेत्रों में खीरा बुवाई – अप्रैल से मई में बुवाई कर सकते हैं |
खीरा का क्या रेट है ?
खीरा का भाव मे मंडी भाव और बाजार भाव दोनों अलग अलग रहते है – किसान आधीक मुनाफा कमाने के लिए अपने लोकल बाजार मे 35 से 45 रुपए प्रतिकिलो तक रहता है | और खीरे के मंडी भाव 2000 से 3000 रुपये प्रति क्विंटल रहता है | कई बार बाजार मे मांग के अनुसार किसान को इससे ज्यादा भाव भी मिल सकते है |
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